
अबतक इंडिया न्यूज 15 अप्रैल जयपुर । राजस्थान के पूर्व मंत्री और कांग्रेस नेता प्रताप सिंह खाचरियावास के सिविल लाइंस स्थित आवास पर प्रवर्तन निदेशालय (ED) की दिल्ली से आई टीम छापेमारी कर रही है. यह कार्रवाई 49,000 करोड़ रुपये के चर्चित PACL चिटफंड घोटाले से जुड़ी बताई जा रही है.
‘मुझे टारगेट किया जा रहा है’
छापेमारी के दौरान खाचरियावास ने कहा कि मैं लगातार भाजपा की राज्य और केंद्र सरकार के खिलाफ बोलता हूं, इसलिए मुझे टारगेट किया जा रहा है. लेकिन भाजपा नेताओं को भूलना नहीं चाहिए कि आज उनकी सरकार है. जब राहुल गांधी के नेतृत्व में केंद्र में कांग्रेस सरकार बनेगी, तो भाजपा नेताओं का क्या होगा ये उन्हें सोचना चाहिए.
‘चिटफंड घोटाले में मेरी भूमिका नहीं’
उन्होंने स्पष्ट किया मेरी इस चिटफंड घोटाले में कोई भूमिका नहीं है. ED की टीम जांच कर रही है, हम पूरा सहयोग कर रहे हैं. लेकिन इस तरह की राजनीति दुर्भाग्यपूर्ण है. यह लोकतंत्र और संवैधानिक मूल्यों के खिलाफ है. पूर्व मंत्री ने यह भी कहा कि उनके छोटे भाई का यह आवास है, जो गंभीर बीमारी से जूझ रहे हैं और ईडी की कार्रवाई से परिवार परेशान है.
कार्यकर्ताओं ने घर के बाहर जताया विरोध
इस कार्रवाई के विरोध में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने खाचरियावास के आवास के बाहर जुटकर केंद्र सरकार और ED के खिलाफ नारेबाजी की. ईडी की जांच में अब यह भी देखा जा रहा है कि राजस्थान में इस घोटाले से किस-किस का सीधा या परोक्ष लाभ जुड़ा रहा है. NDTV की टीम ग्राउंड जीरो पर मौजूद हैं और हर अपडेट आप तक पहुंचा रही है.
‘भैरों सिंह शेखावत का नाम लेना ठीक नहीं’
राजस्थान के पूर्व मंत्री और कांग्रेस नेता प्रताप सिंह खाचरियावास पर ईडी की छापेमारी पर राजस्थान के मंत्री जोगाराम पटेल ने कहा, ‘भाजपा सरकार में किसी को टारगेट करके कोई काम नहीं होता. ईडी या कोई भी अन्य एजेंसी स्वतंत्र रूप से काम करती है. उनका यह कहना कि जब उनकी सरकार आएगी तो वे भी ऐसा ही करेंगे, ठीक नहीं है, खासकर एक जनप्रतिनिधि के तौर पर. इस मामले में भैरों सिंह शेखावत का नाम लेना ठीक नहीं है.’
कई राज्यों में चल रही ईडी की रेड
ED की टीमें कांग्रेस नेता प्रताप सिंह खाचरियावास और कुलवंत सिंह के आवासीय परिसरों सहित 15 से अधिक स्थानों पर छापेमारी कर रही है. यह छापेमारी पर्ल एग्रो कॉरपोरेशन लिमिटेड (पीएसीएल) के मामले में की जा रही है, जिसमें 48,000 करोड़ रुपये की निवेशक धोखाधड़ी शामिल है.
इसके अलावा, पीएसीएल और सहयोगी संस्थाओं की संपत्तियों को अवैध रूप से बेचने के लिए दिवंगत निर्मल सिंह भंगू के सहयोगियों के खिलाफ भी एफआईआर दर्ज की गई है. इस मामले में, ईडी की कई टीमें हरियाणा, पंजाब, राजस्थान और दिल्ली में 15 स्थानों पर छापेमारी कर रही हैं.