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हाई कोर्ट से स्टे लाने वालों ने ही थाने की पट्टेशुदा जमीन पर किया कब्जा,पुलिस से की हाथापाई,2 महिला सहित 6 राउंड अप
अबतक इंडिया न्यूज नोखा 17 जून । सोमवार को बीकानेर के जसरासर थाने के पट्टेशुदा भूखण्ड पर दबंगो ने तारबंदी तोड़कर कब्जा कर लिया।सूचना पर जसरासर एसएचओ संदीप विश्नोई जाप्ते के साथ मौके पर पहुंचे जहां पर उनके साथ भी दबंग हाथापाई पर उतर आए।मौके पर दबंगो ने महिलाओं सहित अन्य लोगो को भी बुला लिया।स्थिति तनावपूर्ण होते देख एसएचओ बिश्नोई ने मौके पर अतिरिक्त जाप्ता बुलाया। मौके से दो महिला सहित 6 लोगो को राउंडअप किया गया।

अब तक इंडिया न्यूज़ से खास बातचीत में एसएचओ विश्नोई ने मामले की जानकारी देते हुए बताया कि पंचायत द्वारा जारी पट्टे शुदा भूखण्ड पर 21 मई 2024 तहसीलदार के नेतृत्व गठित कमिटी द्वारा पुलिस को कब्जा दिया गया था। बाद में दूसरा पक्ष हाइकोर्ट से स्थगन आदेश ले आया।आज कोर्ट का स्थगन आदेश लानेवालों ने ही कोर्ट के आदेश की अवहेलना कर भूखण्ड की तारबंदी तोड़कर प्रवेश कर गए।भूखण्ड पर लगा पुलिस का टेंट भी गिरा दिया।
https://youtu.be/ruTngbi2xvY?si=GAjqHj1ntibad9gd
प्रार्थी ने उच्च न्यायालय में लगाई रिट
इस मामले को लेकर 64 वर्षीय मूलाराम ने राजस्थान उच्च न्यायालय में वाद दायर किया। जिसमें पंचायत राज सचिव,जिला कलक्टर बीकानेर,विकास अधिकारी नोखा,ग्राम पंचायत जसरासर सरपंच तथा नोखा तहसीलदार को जबाबदेही बनाते हुए जांच के आदेश दिए है।
इस मामले को लेकर 64 वर्षीय मूलाराम ने राजस्थान उच्च न्यायालय में वाद दायर किया। जिसमें पंचायत राज सचिव,जिला कलक्टर बीकानेर,विकास अधिकारी नोखा,ग्राम पंचायत जसरासर सरपंच तथा नोखा तहसीलदार को जबाबदेही बनाते हुए जांच के आदेश दिए है।
आरोप -नियमानुसार जारी नहीं हुआ पट्टा
शिकायतकर्ता मूलाराम का कहना है कि ग्राम पंचायत ने जो पट्टा जारी किया है। उसमें राजस्थान पंचायतीराज अधिनियमों की उपेक्षा की गई है। नियमानुसार पालिका अधिनियमों के तहत किसी भी प्रकार का पट्टा जारी करने से पहले आपति विज्ञापन पंजीकृत दैनिक समाचार पत्र में साया करना आवश्यक है। जिसमें किसी प्रकार की आपति आने पर उसका निस्तारण भी जरूरी है। साथ ही इसके लिये संबंधित भूमि का मौका मुआयना कर आस पडोस के निवासियों के कलमबद्व बयान भी आवश्यक है। साथ ही आपति नोटिस भी चस्पा किया जाना जरूरी है। किन्तु ग्राम पंचायत स्तर पर ऐसा कुछ नहीं किया गया।
शिकायतकर्ता मूलाराम का कहना है कि ग्राम पंचायत ने जो पट्टा जारी किया है। उसमें राजस्थान पंचायतीराज अधिनियमों की उपेक्षा की गई है। नियमानुसार पालिका अधिनियमों के तहत किसी भी प्रकार का पट्टा जारी करने से पहले आपति विज्ञापन पंजीकृत दैनिक समाचार पत्र में साया करना आवश्यक है। जिसमें किसी प्रकार की आपति आने पर उसका निस्तारण भी जरूरी है। साथ ही इसके लिये संबंधित भूमि का मौका मुआयना कर आस पडोस के निवासियों के कलमबद्व बयान भी आवश्यक है। साथ ही आपति नोटिस भी चस्पा किया जाना जरूरी है। किन्तु ग्राम पंचायत स्तर पर ऐसा कुछ नहीं किया गया।